झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) के संस्थापक और तीन बार के मुख्यमंत्री शिबू सोरेन का आज सुबह 8:56 बजे नई दिल्ली के सर गंगा राम अस्पताल में निधन हो गया। वह 81 वर्ष के थे और पिछले कुछ समय से बीमार चल रहे थे। उन्हें 19 जून 2025 को अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां वे किडनी से संबंधित बीमारी से जूझ रहे थे और पिछले छह सप्ताह से वेंटिलेटर पर थे।
राजनीतिक जीवन
- शिबू सोरेन ने 1972 में झारखंड मुक्ति मोर्चा की स्थापना की थी और झारखंड राज्य के निर्माण में अहम भूमिका निभाई।
- वे तीन बार झारखंड के मुख्यमंत्री बने (2005, 2008–09, 2009–10), हालांकि कोई भी कार्यकाल पूर्ण नहीं कर पाए।
- उन्होंने लोकसभा के लिए कई बार प्रतिनिधित्व किया और कोयला मंत्री के रूप में केंद्रीय सरकार में भी कार्य किया।
- आदिवासी अधिकारों के लिए उनका संघर्ष हमेशा याद किया जाएगा। उन्हें झारखंड में “दिशोम गुरु” के नाम से भी जाना जाता है।
राजकीय शोक और अंतिम यात्रा
- झारखंड सरकार ने 4 से 6 अगस्त 2025 तक तीन दिवसीय राजकीय शोक की घोषणा की है।
- 4 और 5 अगस्त को सभी सरकारी कार्यालय बंद रहेंगे और झारखंड में राष्ट्रीय ध्वज आधा झुका रहेगा।
- उनका पार्थिव शरीर आज शाम 5:30 बजे रांची पहुंचेगा और फिर 5 अगस्त को उनके पैतृक गांव नेमरा (जिला रामगढ़) में अंतिम संस्कार किया जाएगा।
नेताओं की श्रद्धांजलि
- मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन (पुत्र) ने शोक व्यक्त करते हुए कहा:
“हमारे आदरणीय दिशोम गुरुजी नहीं रहे… आज मैं शून्य हो गया हूँ।” - प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी गहरी शोक संवेदना व्यक्त की और उन्हें जमीनी स्तर का नेता बताया जो आदिवासियों और वंचितों के लिए समर्पित थे।
- नीतीश कुमार, लालू प्रसाद यादव, तेजस्वी यादव, जितन राम मांझी सहित कई बड़े नेताओं ने उनके निधन पर दुख जताया।
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